धर्मयुद्द में धैर्य, कूटनीति का विशेष रोल होता है भावनायें परिस्थितियों पर पकड ढीली करती है।



क्या भावनात्मक होकर युद्ध लडे और जीते जा सकते है जब सामने गिद्ध हो जो लाशों की राजनीति करके हिंदुओं को तोड़कर दलित मुस्लिम समीकरण बनाने की कोशिश करते हो तो क्या करना चाहिए?

धर्मयुद्द में धैर्य,कूटनीति का विशेष रोल होता है भावनायें परिस्थितियों पर पकड ढीली करती है।



                                        


देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी समाचारपत्रों द्वारा दिया गया संदेश गौ माता के सेवक बने। सुबह हर घर से एक रोटी गौ माता के लिए निकालकर गौ माता के मुख् में दें।

जो पॉलिथीन आप सहूलियत के लिए इस्तमाल करते हो। उसे खाकर ना जाने कितनी गाए मरती है। जाने अनजाने में हमारे घर की महिलाएं जो हम सब्जी लाते हैं । 

सब्जी के छिलके उस प्लास्टिक की थैली में डालकर बाहर कूड़ेदान में डाल देते हैं। गाय व अंय पशु जाने अनजाने में वह अपना चारा समझकर खा जाती है। जो उनकी आंत में जाकर फस जाता है। वह उनकी जान का दुश्मन बन जाता है और उनकी जान चली जाती है। जाने अनजाने में आप गौ हत्या के भागीदार बनते हो। 

कृपया कपडे के बैग का इस्तमाल करे।मोदी जी के विचारों में कुछ गंभीरता होगी तो उस पर मंथन भी करना हमारा भारतवासियों का कर्तव्य बनता है। सभी ऐसे नहीं है। हो सकता है बहुत परसेंटेज गौ रक्षक की आड़ में कुछ गैरकानूनी कार्य करते हो । उनके पास सरकारी खुफिया रिपोर्ट आती होंगी। इसलिए उन्होंने ऐसा कहा होगा । ...............कमल कांत हिंदुस्तानी

                                      


I request state governments to prepare a 

dossier of self claimed ‘gaurakshaks’ and 

70-80% of them would be found to be 

anti-social elements. - PM




Shailendra Kumar Gupta sorry aaj ke baad hindutw gya tel lene ..... maje karo ...han mere ghar ke logon ne is hindutw ke chakkar mein balidan diye hain ... jo ab chakkar hee lagta hai ....uska hisab kaun bhAREGA ...


अंकुर गोयल Shailendra Kumar Gupta जी मोदी जी के ये ट्वीट भी पढिये जिसमें उन्होंने सबकुछ साफ किया है।


Shailendra Kumar Gupta मोदी को ट्वीट करना पड गया ...खैर तीर कमान से निकल गया .....


अंकुर गोयल अगर खुद को राष्ट्रवादी और कट्टर हिंदू कहने वाले अपने नेता का ही वक्तव्य ना समझ पायें तो फिर यह भी समझियें कि मोदी या भाजपा के नेता जानते है कि इनके समर्थकों का धैर्य कितना है तभी वोट प्रतिशत को साधने के लिए कुछ ऎसे फैसले लेने होते है जो इन कट्टरपंथी को पंसद ना आये यदि मोदी को मिले ३१% वोट कट्टर होते तो आज ये ना होता और याद रखिये बिहार और दिल्ली में गद्दारी करने वाले भी हिंदू ही है।


Shailendra Kumar Gupta ऐसा न हो , न इधर के रहे न उधर के ...सिर्फ यूपी चुनाव हिंदुत्व से जीत लेते ...गुजरात भी संभल जाता


अंकुर गोयल यूपी में कितने कट्टर हिंदू है याद रखिये २०१४ के तुरंत बाद हुये उपचुनाव में योगी जी को आगे रखा गया था क्या हुआ था याद है???बाबरी गिरवाने वाले कल्याण सिंह की सरकार गिरवाकर रामसेवकों पर गोली चलाने वाले मुल्ला यम की सरकार भी हिंदुओं ने ही बनवाई।

सच्चाई है कि आज भी ८०% हिंदू उदार है जो कानूनी रुप से ही समस्याओं का समाधान चाहता है और साथ में विकास भी।

Shailendra Kumar Gupta मोदी जी , यूपी क्यों जीते मतभेद है ....कुछ कहते हैं हिंदुत्व न होता तो नहीं जीतते ....मुलायम और माया का गठजोड़ नहीं तोडा जा सकता ....


अंकुर गोयल और कट्टर हिंदुत्व वाली शिवसेना क्यों आज तक महाराष्ट्र में भी ढँग से उभर नहीं पायी इसका उत्तर खोजने पर आपको मोदी जी वक्तव्य का अर्थ समझ आ जायेगा।खामोश रहकर चुपचाप काम करने से बडे से बडा लक्ष्य हासिल किया जा सकता है।छोटे सिक्के हमेशा ज्यादा आवाज करते है जबकि बडे नोट हमेशा खामोश रहते है।


Shailendra Kumar Gupta राम मंदिर और रथ यात्रा सॉफ्ट हिंदुत्व था या हार्ड ! सच ये हैं सत्ता की चाशनी किसी को भी लगे ...वो सेक्युलर हो जाता है ....गुजरात दंगों के बाद भी जो मोदी से जुड़े रहे ...वो लाकद्बग्घे - जाहिल हिन्दू थे ...या समार्ट ....समय बतायेगा ....fb वोट नहीं दिलवाता ...पर युद्ध का मनोविज्ञान तय करता है .....रही बात विरोधियों के चुप रहने की ...वो सझते हैं दुसरे की घर की लड़ाई में चुपचाप मजे लेने चाहिए ...वही कर रहे हैं ...


अंकुर गोयल बात को इतना बढाने का कोई औचित्य ही नहीं था मोदी जी का मतलब साफ था ऊना घटना के बाद सेकुलरों और प्रेश्याओं के निशाने पर सभी गौसेवक और गौभक्त आ गये थे बस इसी में मोदी जी ने सच्चे गौभक्तों को बचाते हुए फर्जी गौरक्षकों को गलत बता दिया और राष्ट्रवादी इसे समझ ना पायें।


Shailendra Kumar Gupta अंकुर गोयल तो इतना उलझा बयान देने से क्या लाभ था ...सीधे बोलते तो क्या गलत होता ...अभी भी वक्त है स्टेप 2 का माना की वो राजनितिक मंच नहीं था ...आगे है ....इसको सुधार लें .... गौ समितियां भंग हो गयी ...तो संगठन ख़तम ...विहिप आत्मदाह कर सकती है ...तोगड़िया जी ....राजनीति में आगये ...सब सत्यानाश हो जायगा बीजेपी का ....ये पूरा देहस है गुजरात नही .....


अंकुर गोयल जिनको गलत लगा था उनके लिए ट्िवट आ तो गया।

अंकुर गोयल और भावनात्मक मत होईये ये धर्मयुद्द आपलोग जैसे लोगों के बिना भी नहीं जीता जा सकता बस यर्थाथ में सारी परिस्थिति का विश्लेषण करके ही रियेक्ट करना चाहिए कभी कभी घर के झगडे घर में ही रखकर परिवार को टूटने से बचाया जाता है।साजिशों को समझें।


Shailendra Kumar Gupta क्या हमने आंबेडकर को पूजने पर प्रतिरोध किया ..? क्या संसद में उनके सम्मान में कुछ किया ... उनकी सामाजिक समरसता का सम्मान करता हूँ .... मेरा विरोध उन लोगों के लिए भी है जो उना में दलितों से अत्याचार किये .....पर गौ रक्षकों पर ब्यान का सामान्यीकरण गलत है ....ये दशकों से चल रहे गाय आन्दोलन क कुचल गया ...अगर हमने प्रतिरोध नही किया ....तो जाने आगे क्या क्या होगा .....


अंकुर गोयल फिर कह रहा हूँ जो दशकों से आन्दोलन कर रहे है वे गौभक्त और गौसेवक अलग है और ये खूनी गौरक्षक अलग।सच्चा गौसेवक किसी को मारकर वीडियों नहीं बनायेगा( वीडियों नहीं बनायेगा) ईशाई मिशनरियों से सीखने की आवशदयकता है कि हर जरुरी कार्य का ढोल पीटना आवश्यक नहीं होता।